अवनीश अग्निहोत्री
कोटद्वार नगर से लगी हुई ग्रामसभा काशीरामपुर तल्ला में कल से एक गुलदार के आने से दहसत का माहौल बना हुआ है। गुलदार मोहल्ले में दौड़ता रहा जिंसके बाद किसी तरह उसे गोशाला में बंद किया गया। लगभग 20 घंटे बाद गुलदार को पिंजरे में कैद कर सुरक्षित वन क्षेत्र में छोड़ दिया है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार बुधवार सुबह लगभग आठ बजे ग्राम काशीरामपुर तल्ला से जंगल की ओर लौट रहा एक गुलदार खोह नदी की ओर जा रहे ट्रैक्टर की तेज आवाज सुन वापस गांव की ओर मुड़ गया व मिलेट्री ग्राउंड से लगी दुकान में घुस गया। दुकानदार भारत सिंह रावत ने शोर मचाकर गुलदार को दुकान से बाहर भगाया। भारत सिंह का शोर सुन गांव के ही सुनील रावत, राजेश, पंकज, रवींद्र व अन्य ने उसे गांव से बाहर निकालने के लिए पीछे दौड़ पड़े। गांव की तंग गलियों से होता हुआ गुलदार वाचस्पति शर्मा के आवास के करीब पहुंचा व लक्ष्मी देवी की गाय पर झपट्टा मारते हुए श्री शर्मा के आवास के पिछले हिस्से में बेसमेंट में बनी गोशाला भूसा स्टोर में घुस गया। गुलदार का पीछा कर रहा सुनील जैसे ही गोशाला में घुसा, उसने उस पर झपट्टा मार दिया। सुनील ने किसी तरह खुद को गुलदार के हमले से बचाया और गोशाला से बाहर निकल दरवाजा बंद कर दिया। ग्रामीणों ने तत्काल घटना की सूचना ग्राम प्रधान सुनीता देवी को दी। मौके पर पहुंची प्रधान सुनीता देवी ने वन विभाग को सूचित किया, जिसके बाद करीब नौ बजे वन विभाग की टीम पिंजर के साथ मौके पर पहुंची। ग्रामीणों के सहयोग से विभागीय कर्मी घंटों तेंदुए को पिंजरे में लाने की मशक्कत में जुटे रहे, लेकिन कोई फायदा नहीं। आधी रात के बाद लगभग 2 बजे करीब बीस घंटे के बाद उसे पिंजरे में कैद किया गया। लैंसडौन वन प्रभाग कोटद्वार रेंज के डिफ्टी रेंजर सतविंदर सिंह ने कहा कि गुलदार का डॉ. राजेश कुमार द्वारा मेडिकल कर सुरिक्षत कालागढ़ के पास चौखम्बा के जगंलों में छोड़ दिया है।