कृषि एवं उद्यान के अन्तर्गत राज्य में बनाये जायेंगे सेंटर ऑफ एक्सीलेंस: मुख्यमंत्री

-प्राकृतिक कृषि हजारों वर्षों से हमारी परंपरा का हिस्सा: सीएम धामी

देहरादून: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सोमवार को सचिवालय से वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से नीति आयोग द्वारा आयोजित नवोन्मेषी कृषि कार्यक्रम में प्रतिभाग कियाI इस दौरान सीएम ने कृषि से जुड़े प्रदेश के काश्तकारों को अनेक प्रकार की सुविधाओं को देने स्थापित करने की बात कहीI उन्होंने राज्य के काश्तकारों को उन्नत कृषि के प्रति प्रोत्साहित करते हुए कहा कि रेन हार्वेस्टिंग टैंको के व्यापक स्तर पर निर्माण एवं सब्जी और पुष्प उत्पादन हेतु पॉलीहाउस को बढ़ावा देने को लेकर नीति आयोग एवं केन्द्र सरकार से मदद ली जायेगी।

मुख्यमंत्री ने अपने सम्बोधन में कहा कि प्राकृतिक कृषि हजारों वर्षों से हमारी परंपरा का हिस्सा रही है। पर्यावरण को बचाये रखने के लिए हमें प्रकृति की शरण में जाना ही होगा। उत्तराखण्ड में कृषि एवं उद्यान आधारित उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए आईआईएम काशीपुर में स्टार्टअप हब बनाया जा रहा है। कृषि एवं उद्यान के अन्तर्गत राज्य में सेंटर ऑफ एक्सीलेंस बनाये जायेंगे। राज्य में नेशनल मिशन फॉर फूड प्रोसेसिंग के अन्तर्गत फल, सब्जियों के प्रसंस्करण के लिए पृथक नोडल ईकाई का गठन कर वेल्यू एडिशन एवं फूड प्रोसेसिंग आधारित संरचना का विकास किया जायेगा।

सीएम ने कहा कि उत्तराखण्ड में ईकोलॉजी और इकोनोमी में कैसे आदर्श समन्वय हो, इस दिशा में राज्य सरकार लगातार कार्य कर रही है। राज्य सरकार ने राज्य में सकल पर्यावरणीय उत्पाद (जी.ई.पी) को लागू किया है, जो जी.डी.पी को निर्धारित करने के प्रचलित मॉडल के साथ लागू किया गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में नेशनल हॉर्टिकल्चर मिशन के अन्तर्गत विश्व स्तरीय पौधशालाओं की स्थापना, चाय के विकास के लिए उत्तराखण्ड की चाय को वैश्विक पहचान दिलाने, जल संरक्षण हेतु काश्तकारों को प्रोत्साहित कर रेन हार्वेस्टिंग टैंको के व्यापक स्तर पर निर्माण एवं सब्जी और पुष्प उत्पादन हेतु पॉलीहाउस को बढ़ावा देने के लिए प्रयास किये जा रहे है। जिसमें नीति आयोग एवं केन्द्र सरकार से मदद ली जायेगी।

उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड में प्राकृतिक कृषि के उत्थान एवं उसके विविध आयामों पर कार्य करने के लिए राज्य सरकार कृत संकल्पित है। उत्तराखण्ड सरकार राज्य में प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने के लिए कृषि विश्वविद्यालयों को प्रेरित कर रही है। कृषि विज्ञान केन्द्रों के माध्यम से काश्तकार इससे जुड़ेगे। रासायनिक खेती से प्राकृतिक खेती राज्य के विजन डॉक्यूमेंट का हिस्सा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में जल्द एक टास्क फोर्स का गठन किया जायेगा। जिसमें सभी स्टेक होल्डर्स को शामिल कर उत्तराखण्ड में प्राकृतिक खेती में आगे बढ़ाया जायेगा। हमें अपनी कृषि व्यवस्था को प्रोत्साहित करने के लिए अपनी खेती को तमाम हानिकारक रसायनों से बचाना होगा। जिससे काश्तकार भी सम्पन्न हो सकें और ‘सर्वे भवन्तु सुखिनः’ आधारित कृषि व्यवस्था लागू हो सके।

इस अवसर पर वर्चुअल माध्यम से कृषि मंत्री भारत सरकार नरेन्द्र सिंह तोमर, पुरूषोत्तम रूपाला, गुजरात के राज्यपालआचार्य देवव्रत, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, आन्ध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाई. एस. जगन मोहन रेड्डी, हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर, नीति आयोग के उपाध्यक्ष डॉ. राजीव कुमार, सदस्य नीति आयोग डॉ. नीलम पटेल उपस्थित थे।

Previous articleनगर निगम बोर्ड की बैठक में राज्य आंदोलन में बलिदान देने वाले को पत्थरबाज कहने पर हुआ जबरदस्त हंगामा
Next articleमुख्य सचिव ने दिए अधिकारियों को निर्देश, कार्यों की गुणवत्ता में न करें किसी प्रकार समझौता