बोधिसत्व विचार मंथन कार्यक्रम में बोले सीम धामी, 2025 तक खेलों में भी बनेगा उत्तराखण्ड आदर्श राज्य

-खिलाड़ियो एवं खेल से जुड़े लोगों को मुख्यमंत्री ने किया सम्मानित

-प्रदेश में खेलो के विकास के लिये खिलाड़ियों के सुझावों पर दिया जायेगा ध्यान- मुख्यमंत्री

देहरादून: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शुक्रवार को सीएम कैम्प कार्यालय में आयोजित आत्मनिर्भर उत्तराखण्ड @ 25 बोधिसत्व विचार मंथन कार्यक्रम में प्रतिभाग किया। उन्होंने खिलाड़ियों एवं खेल से जुड़े लोगों से संवाद करने के साथ ही उनके विचार भी सुनने के बाद उन्हें सम्मानित भी किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में जनसंवाद पर आधारित विकास का मॉडल तैयार करने का हमार प्रयास है। इसी को ध्यान में रखते हुए बजट की रूप रेखा तैयार करने में जन सुझावों के साथ बोधिसत्व विचार श्रृंखला में प्राप्त सुझावों को भी इसमें शामिल किया गया है।

इस मौके पर मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य खेलों में अपनी विशिष्ट पहचान बनाये, खिलाड़ियों को बेहतर अवसर मिले इसके लिये खेल नीति तैयार की गई है। हमरा प्रयास है कि खेलों का भी रोड मेप भी तैयार हो खेलों की बेहतरी तथा खेल प्रतिभाओं को आगे बढ़ाने के लिये खेल नीति में और संशोधन किये जाने की जरूरत होगी तो की जायेंगी।

कहा कि राज्य स्तर पर खेलों के विकास के सम्बन्ध में हर तीन माह में समीक्षा की जायेगी तथा खिलाड़ियों से संवाद कर उनकी समस्याओं का निराकरण किये जाने के भी प्रयास किये जायेंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में जो लोग खेलों से जुड़े है वे अच्छा कार्य कर रहे हैं, 2025 में खेलों में भी उत्तराखण्ड आदर्श बने इसके लिये भी प्रयास किये जायेंगे। हमारे राज्य में खेल प्रतिभाओं की कमी नही है, यहां का वातावरण लगभग सभी खेलों के लिये अनुकूल है। उन्होंने कहा कि सामान्य परिस्थिति में जीवन यापन करने वाले प्रतिभाशाली खिलाड़ियों की समस्याओं से वे अवगत है।

सीएम धामी ने कहा कि हम देवभूमि के निवासी है। धर्म अध्यात्म एवं योग की हमारी भूमि है। हम जहां भी है राज्य हित में अपना श्रेष्ठ देने का कार्य करें। सरकार साझीदार तथा सहयोगी के रूप में सबके साथ खड़ी है। सभी के सहयोग से हमें उत्तराखण्ड को आदर्श एवं विकसित राज्य बनाना है।

कार्यक्रम के संयोजक दुर्गेश पंत ने कहा कि आत्मनिर्भर उत्तराखण्ड बनाने के उद्देश्य से 27 अक्टूबर 2021 से शुरू किये गये इस बोधिसत्व कार्यक्रम में सर्वप्रथम प्रधानमंत्री व भारत सरकार के वैज्ञानिक सलाहकार, नीति आयोग के उपाध्यक्ष व समस्त सलाहकार तथा देश के वैज्ञानिक संस्थानों के प्रमुखों एवं शीर्षस्थ वैज्ञानिकों, योजनाकारों तथा विशेषज्ञों द्वारा प्रतिभाग किया गया। इस कार्यक्रम के तहत अभी तक 5 बड़ी व 8 छोटी संगोष्ठियां सहित कुल 13 संगोष्ठियां की जा चुकी है।

इस अवसर अपने विचार रखने वालों में शुटींग खिलाड़ी जसपाल राणा, बालीवाल खिलाड़ी अरूण कुमार सूद, एथलेटिक्स खिलाड़ी गुरूफूल सिंह, मनीष सिंह रावत, प्रो0 ए.एस.सजवाण, सुखबीर सिंह, गोल्फ खिलाड़ी डॉ. हाविश कुमार, यशौदा कर्णवाल, पर्वतारोही लवराज धर्मशक्तु, बास्केट बॉल खिलाड़ी शिवम आहुजा, तीरंदाजी से रामेश प्रसाद, बाक्सिंग खिलाड़ी नवीन चौहान, क्रिकेट खिलाड़ी प्रजींद्र सिंह एवं लियाकत अली खां तथा ऑनलाईन माध्यम से बैडमिंटन खिलाडी लक्ष्य सेन, चिराग सेन, डी.के.सेन, एसोसियेट प्रो. डॉ. सीपी भाटी, सुखबीर सिंह, बीएचयु से प्रो. बी सी कापरी, कोच इंडियन वुमैन बॉक्सिंग भास्कर भट्ट, पर्वतारोही शीतल राज, ऑलमपियन मनीष रावत, मनोज सरकार, हॉकी खिलाड़ी राजेंद्र सिंह रावत, एथलेक्टिस सीएस नेगी आदि थे।

इस अवसर पर विशेष प्रमुख सचिव अभिनव कुमार, निदेशक खेल जी.एस.रावत, पूर्व विधायक डॉ. शैलेन्द्र मोहन सिंघल उपस्थित थे।

Previous articleअमरनाथ यात्रा मार्ग पर हुए हादसे पर मुख्यमंत्री धामी ने किया दुःख व्यक्त, रक्षा मंत्री मंत्री राजनाथ सिंह से की फोन पर वार्ता
Next articleमुख्यमंत्री ने कांवड़ मेले को लेकर अधिकारियों को दिये अहंम निर्देश, बोले. मेला शुरू होने से पहले की जाएं सभी व्यवस्थाएं पूर्ण